बेंगलुरु। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने वैश्विक निवेशकों से देश के ऊर्जा क्षेत्र (energy sector) में निवेश के अवसरों का लाभ उठाने का आह्वान किया और भारत को आज दुनिया में निवेश के लिए सबसे उपयुक्त स्थान बताया है।
मोदी ने सोमवार को यहां भारत ऊर्जा सप्ताह-2023 (India Energy Week-2023) (इंडिया एनर्जी वीक) का उद्घाटन करने के बाद कहा कि बजट 2023-24 में 10 लाख करोड़ रुपये के पूंजीगत व्यय का प्रावधान किया गया है। इससे हरित ऊर्जा, सौर बिजली और सड़क क्षेत्रों को प्रोत्साहन मिलेगा।
प्रधानमंत्री ने कहा, मैं आपसे भारत के ऊर्जा क्षेत्र में सभी अवसरों का लाभ उठाने को कह रहा हूं। भारत आज निवेश के लिए सबसे उपयुक्त स्थान है। भारत ऊर्जा सप्ताह में कई मंत्री, कॉरपोरेट जगत के दिग्गज और विभिन्न देशों के विशेषज्ञ भाग ले रहे हैं।
मोदी ने अपने संबोधन में सरकार द्वारा हरित ऊर्जा को प्रोत्साहन देने और 2070 तक शुद्ध शून्य उत्सर्जन लक्ष्य को हासिल करने के लिए उठाए गए कदमों का भी जिक्र किया। बजट 2023-24 में शुद्ध शून्य उत्सर्जन लक्ष्य को हासिल करने के लिए पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय को 35,000 करोड़ रुपये दिए गए हैं।
मोदी ने कहा कि जी20 की भारत की अध्यक्षता में भारत ऊर्जा सप्ताह पहला बड़ा कार्यक्रम है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा उठाए गए कदमों की वजह से आज करोड़ों लोग गरीबी से बाहर निकलकर मध्यम वर्ग की श्रेणी में आ गए हैं। उन्होंने कहा कि आज भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा मोबाइल विनिर्माता बन चुका है। इसके अलावा, भारत आज दुनिया का चौथा सबसे बड़ा कच्चे तेल का शोधन करने वाला देश है।
मोदी ने कहा कि भारत कच्चे तेल की शोधन क्षमता को 25 करोड़ टन सालाना से बढ़ाकर 45 करोड़ टन सालाना करने पर काम कर रहा है। उन्होंने बताया कि देश का गैस पाइपलाइन का नेटवर्क अगले चार-पांच साल में मौजूदा 22,000 किलोमीटर नेटवर्क से बढ़कर 35,000 किलोमीटर हो जाएगा।
प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार ने ऐसे क्षेत्र को घटाकर 10 लाख वर्ग फुट पर ला दिया है, जहां तेल और गैस की खोज नहीं की जा सकती है। उनके अनुसार, इससे निवेश के अवसर बढ़ेंगे। उन्होंने कहा कि भारत पेट्रोल में 20 प्रतिशत एथनॉल मिलाने के लक्ष्य की ओर तेजी से आगे बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि आज पेश की गई सौर कुकटॉप प्रणाली से भारत में ‘खाना पकाने के काम’ को एक नई दिशा मिलेगी। (भाषा)