Paris Olympics 2024: पेरिस ओलंपिक में भारत का सपना टूट गया है. उससे ज्यादा टूटी है उस एक खिलाड़ी की मेहनत. हम बात कर रहे है भारतीय रेसलर विनेश फोगाट की जिसने इतने समय तक दिन-रात मेहनत करके पेरिस ओलंपिक तक पहुंची. (vinesh phogat retirement)
माँ कुश्ती मेरे से जीत गई मैं हार गई माफ़ करना आपका सपना मेरी हिम्मत सब टूट चुके इससे ज़्यादा ताक़त नहीं रही अब।
अलविदा कुश्ती 2001-2024 🙏
आप सबकी हमेशा ऋणी रहूँगी माफी 🙏🙏
— Vinesh Phogat (@Phogat_Vinesh) August 7, 2024
जब विनेश पेरिस ओलंपिक में फाइनल में पहुंची तो विश्वास हो गया तो कि भारत की बेटी अब गोल्ड घर लाकर ही दम लेगी. लेकिन अगने ही दिन कुछ ऐसा हुआ जिस से खेल जगत में भूचाल आ गया
भारत के गौरव रेसलर विनेश फोगाट को फाइनल से पहले अयोग्य करार दे दिया गया. कारण था विनेश का 100 ग्राम ज्यादा वजन. यह खबर सुनते ही पूरे खेल जगत में सन्नाटा छा गया.
7 अगस्त को विनेश का वजन उनकी तय कैटेगरी 50kg से 100 ग्राम ज्यादा निकला. इसके बाद ओलिंपिक एसोसिएशन ने उन्हें फ्रीस्टाइल महिला कुश्ती के लिए अयोग्य घोषित कर दिया.
विनेश फोगाट का संन्यास, मां से मांगी माफी
भारतीय रेसलर विनेश फोगाट को पेरिस ओलिंपिक में डिसक्वालिफाई कर दिया गया जिसके बाद विनेश ने कुश्ती से संन्यास का ऐलान कर दिया है. विनेश फोगाट ने कुश्ती को अलविदा कहते हए एक्स-हैंडल पर अपनी मां से माफी भी मांगी है.
उन्होंने गुरुवार सुबह 5.17 बजे X पर एक पोस्ट में लिखा- “मां कुश्ती मेरे से जीत गई, मैं हार गई. माफ करना आपका सपना, मेरी हिम्मत सब टूट चुके. इससे ज्यादा ताकत नहीं रही अब. अलविदा कुश्ती 2001-2024, आप सबकी हमेशा ऋणी रहूंगी, माफी”
सिल्वर मेडलिस्ट की तरह किया जाएगा सम्मान
विनेश ने संन्यास के ऐलान से पहले बुधवार रात अपने डिस्क्वालिफिकेशन के खिलाफ अपील दायर की है. उन्होंने कोर्ट ऑफ आर्बिट्रेशन फॉर स्पोर्ट्स से मांग की कि उन्हें संयुक्त रूप से सिल्वर मेडल दिया जाए.
विनेश ने पहले फाइनल खेलने की मांग भी की थी. फिर उन्होंने अपील बदली और अब संयुक्त रूप से सिल्वर दिए जाने की मांग की.हरियाणा के CM नायब सैनी ने घोषणा की है कि राज्य सरकार विनेश को ओलिंपिक सिल्वर मेडल जीतने वाले खिलाड़ी की तरह ही सम्मान-इनाम देगी.
किस्मत खराब थी कि हम…
विनेश के कोच को यह रात में पता चल गया था कि उनका वजन ज्यादा है. विनेश ने वजन कम करने का हर संभव प्रयास किया लेकिन कामयाब ना हो सकी.
ओलिंपिक से बाहर होने के बाद विनेश की तबीयत बिगड़ गई और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया. कोच वीरेंद्र दाहिया उनसे मिलने पहुंचे तो विनेश ने उनसे कहा- ‘किस्मत खराब थी कि हम मेडल से चूक गए, लेकिन यह खेल का हिस्सा है’.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इंडियन ओलिंपिक एसोसिएशन की अध्यक्ष पीटी उषा से कहा था कि वे रेसलर की मदद के तरीके तलाशें।.PM ने उषा से इस मामले में विरोध दर्ज कराने को भी कहा था.
ओलिंपिक के फाइनल में पहुंचने वाली पहली भारतीय महिला रेसलर
विनेश 3 मुकाबले जीतकर 50 kg रेसलिंग ओलिंपिक के फाइनल में पहुंचने वालीं पहली भारतीय महिला रेसलर बनी थीं.
सेमीफाइनल में उन्होंने क्यूबा की पहलवान गुजमान लोपेजी को, क्वार्टरफाइनल में यूक्रेन की ओकसाना लिवाच और प्री-क्वार्टरफाइनल में वर्ल्ड चैंपियन जापान की युई सुसाकी को 3-2 से मात दी थी.
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